उत्तर प्रदेश के देवरिया जिले से एक चौंका देने वाला मामला सामने आया है, जहां एक बुजुर्ग ने बकरीद के दिन खुद की गर्दन काटकर कथित तौर पर खुद की कुर्बानी दी। इस घटना ने न सिर्फ गांव बल्कि पूरे क्षेत्र को स्तब्ध कर दिया है। बुजुर्ग ने मरने से पहले एक पत्र भी छोड़ा है, जिसमें उसने अपनी भावनाएं बयां की हैं।
घटना कहां की है?
यह दर्दनाक मामला देवरिया जिले के गौरीबाजार थाना क्षेत्र के उधोपुर गांव का है। मृतक की पहचान ईश मोहम्मद के रूप में हुई है, जो हर साल की तरह इस बार भी बकरीद से पहले किछौछा शरीफ (अंबेडकरनगर) स्थित दरगाह से लौटे थे।
नमाज़ के बाद लिया आत्मघाती कदम
शनिवार की सुबह ईश मोहम्मद ने बकरीद की नमाज अदा की और फिर अपने घर लौटकर झोपड़ी में आराम करने चले गए। लगभग एक घंटे बाद झोपड़ी से कराहने की आवाजें आने लगीं। जब उनकी पत्नी अंदर पहुंची, तो देखा कि उन्होंने बकरा हलाल करने वाले चाकू से खुद का गला काट लिया था।
उनकी हालत देख पत्नी बेहोश हो गई। शोर सुनकर गांववाले इकट्ठा हुए और पुलिस को सूचना दी गई। गंभीर रूप से घायल ईश मोहम्मद को पहले देवरिया मेडिकल कॉलेज, फिर हालत बिगड़ने पर गोरखपुर मेडिकल कॉलेज ले जाया गया, जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई।
मरने से पहले छोड़ा भावुक सुसाइड नोट
पुलिस को मौके से एक पत्र मिला है जिसमें ईश मोहम्मद ने लिखा है:
“इंसान बकरे को अपने बच्चे की तरह पालता है और फिर कुर्बानी देता है, जबकि वह भी एक जीव है। कुर्बानी जरूरी है, लेकिन इस बार मैं खुद को अल्लाह और रसूल के नाम पर कुर्बान कर रहा हूं। मेरी मौत से घबराना नहीं, किसी ने मुझे मारा नहीं है। मेरी मिट्टी सुकून से देना और किसी से डरना मत।”
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पुलिस जांच में जुटी, सामाजिक-धार्मिक पहलू की हो रही पड़ताल
फिलहाल पुलिस इस पूरे मामले की आत्महत्या और मानसिक स्थिति के पहलू से जांच कर रही है। पत्र की पुष्टि के बाद धार्मिक और मानसिक स्वास्थ्य से जुड़े पहलुओं पर भी ध्यान केंद्रित किया जा रहा है।