Raipur – मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ सरकार ने छोटे व्यापारियों और मध्यमवर्गीय परिवारों के लिए राहत देने के दो अहम निर्णय लिए हैं। ये निर्णय 1 अप्रैल 2025 से प्रभावी हो चुके हैं और वर्ष 2025-26 के बजट में वित्त मंत्री ओ पी चौधरी के दिशा-निर्देश पर शामिल किए गए थे।
1. ई-वे बिल की सीमा में वृद्धि: ₹1 लाख तक माल परिवहन बिना ई-वे बिल के
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने छत्तीसगढ़ राज्य में माल परिवहन के लिए अनिवार्य ई-वे बिल की सीमा ₹50,000 से बढ़ाकर ₹1 लाख कर दी है। इस फैसले से छोटे व्यापारियों को बड़ी राहत मिलेगी, क्योंकि अब ₹1 लाख तक के माल का परिवहन बिना ई-वे बिल के किया जा सकेगा। इससे करीब 26% व्यापारियों को ई-वे बिल जनरेट करने से मुक्ति मिलेगी।
यह कदम व्यापारियों के लिए लागत कम करने और व्यापार में सुगमता लाने की दिशा में महत्वपूर्ण है। हालांकि, कुछ विशेष वस्तुएं जैसे पान मसाला, तंबाकू उत्पाद, और अन्य कुछ सामग्रियों के लिए यह छूट लागू नहीं होगी।
2. पेट्रोल पर वैट में ₹1 प्रति लीटर की कमी: मध्यमवर्गीय परिवारों को राहत
राज्य सरकार ने 1 अप्रैल 2025 से पेट्रोल पर वैट में ₹1 प्रति लीटर की कमी की है। इस कदम से पेट्रोल की कीमतों में गिरावट आएगी, जिसका सीधा लाभ विशेष रूप से मध्यमवर्गीय और निम्न-मध्यमवर्गीय परिवारों को होगा। छत्तीसगढ़ में दुपहिया वाहन उपयोगकर्ताओं की संख्या अधिक है, जो पेट्रोल पर निर्भर रहते हैं। वैट में यह कटौती इन परिवारों की रोज़मर्रा की लागत को कम करने में मदद करेगी।
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सरकार की प्रतिबद्धता: सुगमता, सुविधा और संवेदनशीलता
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ सरकार लगातार ऐसे निर्णय ले रही है जो प्रदेशवासियों के लिए फायदेमंद हों। ये फैसले व्यापारियों को राहत देने और आम जनता की लागत कम करने में सहायक साबित होंगे, जिससे प्रदेश के आर्थिक विकास को गति मिलेगी।