अवैध रूप से रह रहे विदेशी नागरिकों की खोज के लिए जिला स्तर पर टास्क फोर्स गठित, 5 जून को होगी पहली अहम बैठक
रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार ने प्रदेश में अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी और रोहिंगिया घुसपैठियों के खिलाफ बड़ी और सख्त कार्रवाई की शुरुआत की है। राज्य के सभी 33 जिलों में विशेष टास्क फोर्स (STF) का गठन किया गया है, जिसकी निगरानी ASP और DSP रैंक के वरिष्ठ अधिकारी करेंगे।
STF गठन का उद्देश्य क्या है?
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बांग्लादेशी और रोहिंगिया जैसे अवैध प्रवासियों की पहचान और गिरफ्तारी।
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सीमा क्षेत्रों और संवेदनशील इलाकों में लगातार निगरानी।
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केंद्र सरकार के निर्देशों के अनुसार संघीय सुरक्षा नीति को मजबूत बनाना।
राजनांदगांव में सबसे बड़ी टीम, 4 DSP और 16 इंस्पेक्टर शामिल
राजनांदगांव में STF की सबसे बड़ी टीम बनाई गई है।
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प्रभारी: ASP राहुल देव शर्मा
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सहायक: 4 DSP और 16 निरीक्षक रैंक के अधिकारी
यह कदम इसलिए अहम है क्योंकि राजनांदगांव में घुसपैठ के कई मामले पहले भी उजागर हो चुके हैं।
अन्य जिलों में जिम्मेदारी किसे?
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रायपुर: ASP ममता देवांगन
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दुर्ग: सत्यप्रकाश तिवारी
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कवर्धा: पुष्पेंद्र सिंह बघेल
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नक्सल प्रभावित जिलों में भी विशेष टीम गठित
5 जून को पहली रणनीतिक बैठक
STF की पहली राज्य स्तरीय समीक्षा बैठक 5 जून को रायपुर में होगी।
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एजेंडा:
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घुसपैठियों की पहचान की रणनीति
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केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देशों की जानकारी
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जिला पुलिस बल और STF के बीच समन्वय की रूपरेखा
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कांग्रेस नेता पर गंभीर आरोप: बांग्लादेशी घुसपैठियों को संरक्षण, स्थानीय प्रमाण पत्र बांटने का दावा…
ADG इंटेलिजेंस अमित कुमार का बड़ा बयान
एडीजी अमित कुमार ने बताया:
“केंद्र सरकार से मिले निर्देशों के तहत छत्तीसगढ़ में संगठित और तेज़ एक्शन शुरू कर दिया गया है। घुसपैठियों की पहचान के लिए हर जिले में STF सक्रिय की गई है।”